ड्रग्स केस में अकाली नेता पर केस:पूर्व मंत्री मजीठिया अंडरग्राउंड; पंजाब पुलिस की सुरक्षा छोड़ी; डिप्टी CM रंधावा बोले- गिरफ्तार करेंगे

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ड्रग्स केस में अकाली नेता पर केस:पूर्व मंत्री मजीठिया अंडरग्राउंड; पंजाब पुलिस की सुरक्षा छोड़ी; डिप्टी CM रंधावा बोले- गिरफ्तार करेंगे

ड्रग्स केस में अकाली नेता पर केस:पूर्व मंत्री मजीठिया अंडरग्राउंड; पंजाब पुलिस की सुरक्षा छोड़ी; डिप्टी CM रंधावा बोले- गिरफ्तार करेंगे


पंजाब की सियासत में नया धमाका हो गया है। चन्नी सरकार ने आधी रात को अकाली नेता और पूर्व मंत्री बिक्रम मजीठिया के खिलाफ केस दर्ज कर लिया है। यह केस मोहाली में ब्यूरो ऑफ इन्वेस्टिगेशन (BOI) ने स्टेट क्राइम पुलिस थाने में केस दर्ज कराया है। मजीठिया के खिलाफ ड्रग्स केस को लेकर लगातार आरोप लगाए जा रहे थे। यह केस NDPS एक्ट के तहत दर्ज हुआ है।

गृह विभाग संभाल रहे डिप्टी सीएम सुखजिंदर रंधावा ने कहा कि मजीठिया को गिरफ्तार किया जाएगा। उन्होंने कहा कि अगर नशा बेचने वाले गिरफ्तार हो सकते हैं तो मजीठिया को भी पकड़ा जाएगा। सूत्रों के मुताबिक, अकाली दल को मजीठिया के खिलाफ केस की भनक पहले ही लग चुकी थी।

मजीठिया के अंडरग्राउंड होने की चर्चा है। बताया जा रहा है कि वह पंजाब से बाहर जा चुके हैं। उनके साथ पंजाब पुलिस के जवान नहीं है। वह सिर्फ केंद्रीय सुरक्षा बलों के जवानों को साथ लेकर गए हैं।

49 पेज की FIR में मजीठिया पर यह आरोप
मजीठिया के खिलाफ 49 पेज की FIR दर्ज की गई है। आरोप हैं कि उन्होंने अपनी प्रॉपर्टी और गाड़ियों के जरिए ड्रग तस्करी में मदद की। उन्होंने नशे को बांटने और बेचने के काम को फाइनेंस किया। ड्रग तस्करी की पूरी साजिश रची।

आरोप है कि मजीठिया के अमृतसर स्थित घर में विदेश से आने वाले NRI रहते थे। जहां उन्हें इनोवा और गनमैन तक दिए जाते थे। चंडीगढ़ स्थित सेक्टर 39 के सरकारी घर में भी नशा तस्कर ठहरते रहे। यह केस नशा तस्करी के आरोप में पकड़े गए आरोपियों के बयान पर दर्ज हुआ है।

मजीठिया के खिलाफ स्पेशल टास्क फोर्स (STF) की रिपोर्ट के आधार पर कार्रवाई की गई है। यह रिपोर्ट 2018 में ADGP हरप्रीत सिद्धू की अगुवाई में तैयार हुई थी। उसी में मजीठिया का नाम होने का दावा है। जिसके बारे में पंजाब कांग्रेस प्रधान नवजोत सिद्धू भी दावा करते रहे हैं।

हाईकोर्ट ने कहा था- हमारी कोई रोक नहीं तो कार्रवाई क्यों नहीं?
इस मामले में हाईकोर्ट में जमा सीलबंद STF रिपोर्ट को लेकर खासी सियासत होती रही है। खासकर, कांग्रेस के भीतर इसको लेकर सिद्धू और चन्नी सरकार की जंग चल रही थी। इसके बाद सिद्धू के दबाव में पहले एडवोकेट जनरल को बदला गया। APS देयोल को हटाकर AG बने डीएस पटवालिया ने हाईकोर्ट में कहा कि STF रिपोर्ट को खोलने पर कोई रोक नहीं है। जिसके बाद हाईकोर्ट ने सरकार को फटकार लगाई कि फिर उन्होंने अभी तक इस पर कार्रवाई क्यों नहीं की। अब सरकार पूरी तरह हरकत में आ रही है।

अफसर छुट्‌टी पर गए तो हुआ विवाद
पंजाब में कुछ दिन पहले ब्यूरो ऑफ इन्वेस्टिगेशन के अफसरों के लगातार छुट्‌टी पर जाने को लेकर सवाल उठते रहे। हाल ही में यह मामला तब सुर्खियों में आया, जब ADGP एसके अस्थाना अचानक मेडिकल लीव पर चले गए। इसको लेकर बवाल हुआ तो वह अस्पताल में एडमिट हो गए। जिसके बाद उनके DGP को लिखे पत्र के कुछ अंश भी लीक हुए। जिसमें उन्होंने कहा था कि मजीठिया पर इस तरह कार्रवाई नहीं की जा सकती।

अकाली दल बोला- मजीठिया को जानबूझकर फंसाया
अकाली दल के नेता विरसा सिंह वल्टोहा ने कहा कि मजीठिया को जानबूझकर फंसाया जा रहा है। चन्नी सरकार के पास कोई मुद्दा नहीं है, इसलिए यह नया विवाद खड़ा किया जा रहा है। ब्यूरो ऑफ इन्वेस्टिगेशन के 3 ADGP ने इससे मना कर दिया था। इसके बाद चन्नी सरकार ने DGP बदला और अब यह कार्रवाई की गई है

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