इनेलो सुप्रीमो ओमप्रकाश चौटाला के बाहर आने से पहले कांग्रेस में मचा हड़कंप!
इनेलो सुप्रीमो ओमप्रकाश चौटाला के बाहर आने से पहले कांग्रेस में मचा हड़कंप!
कल कांग्रेस में हुड्डा खेमे के 19 विधायक हरियाणा प्रभारी विवेक बंसल से मिले और इन विधायकों ने हरियाणा की जिम्मेदारी हुड्डा को देने की मांग रखी। विधायकों ने बदलाव के ये 2 बड़े कारण बताए
• विधायकों ने पार्टी प्रभारी से प्रदेशाध्यक्ष बदलने की मांग की। कहा कि प्रदेश में कांग्रेस का मजबूत नेतृत्व जरूरी है। अब ओपी चौटाला जेल से बाहर आ जाएंगे, ऐसे में पार्टी को मजबूत नेता की जरूरत होगी।
यहां तक तो सूत्रों ने बात बताई आगे की बात नहीं बताई। उन्होंने यह भी कहा कि कांग्रेस के बहुत से नेता हुड्डा के कमजोर होने की वजह से ओपी चौटाला के सम्पर्क में है, क्योंकि अब इनेलो में खेमेबाजी नहीं रही है तो उन नेताओं को ओपी चौटाला के साथ जाने में अपना भविष्य दिख रहा है। दूसरी तरफ ये भी चर्चा है कि हुड्डा अपने नेताओं को टिकट दिलवाने में फिलहाल समर्थ नहीं हैं। इस कारण भी ओपी चौटाला की तरफ नेता रुख कर रहे हैं। खासकर जींद, हिसार, फतेहाबाद, नूंह, पलवल, अम्बाला आदि जिलों के नेता। ऐसे में हुड्डा को कमान नहीं मिली तो कांग्रेस में भगदड़ मचना स्वाभाविक है। कांग्रेस हाईकमान की तरफ से यह बात रखी गयी कि हुड्डा को कमान सौंपते ही कांग्रेस का कोर वोटर बीजेपी की तरफ भाग जाएगा और बीजेपी दोबारा मजबूत हो जाएगी। इन्हीं कसमसाहट के बाद मीटिंग बेनतीजा खत्म हो गयी। कांग्रेस हाईकमान की तरफ से यह भी कहा गया कि आप इनेलो को ओवर एस्टीमेट तो नहीं कर रहे हैं, कांग्रेस नेताओं ने कहा कि आप उन्हें अंडर एस्टीमेट कर रहे हैं। ओपी चौटाला को संगठन और नेताओं को एक साथ रखने में महारत हासिल है। दूसरी तरफ अजय चौटाला परिवार के अलग हो जाने से अब इनेलो के भीतर कोई खेमेबाजी नहीं बची है, जिसका सीधा फायदा इनेलो को मिलेगा।
•दूसरा कारण यह बताया कि किसान आंदोलन के साथ खड़े होने को बड़े नेतृत्व की दरकार है। प्रदेश की राजनीति का लंबा अनुभव रखने वाला नेता ही मजबूत संगठन बना सकता है। जबकि अभय चौटाला के इस्तीफे के बाद कांग्रेस के नेता किसान आंदोलन में भी कमजोर हुए हैं और ओपी चौटाला के बाहर आते ही संगठन को फिर मजबूत करेंगे।
SOURCE NAVEEN RAMAN