Haryana News: हरियाणा में 20 नवंबर को वीरांगना झलकारी बाई की जयंती पर राज्य स्तरीय समारोह, सीएम मनोहर लाल समारोह में बतौर मुख्य अतिथि करेंगे शिरकत

हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल के नेतृत्व में हरियाणा सरकार ने संत महापुरुष सम्मान एवं विचार प्रचार प्रसार योजना के तहत महान संतों और महापुरुषों के साथ-साथ वीर-वीरांगनाओं की शिक्षाओं और संदेशों को जन-जन तक पहुंचाने का बीड़ा उठाया है।
Haryana News: हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल के नेतृत्व में हरियाणा सरकार ने संत महापुरुष सम्मान एवं विचार प्रचार प्रसार योजना के तहत महान संतों और महापुरुषों के साथ-साथ वीर-वीरांगनाओं की शिक्षाओं और संदेशों को जन-जन तक पहुंचाने का बीड़ा उठाया है। इसी श्रृंखला को आगे बढ़ाते हुए 20 नवंबर पलवल में राज्यस्तरीय झलकारी बाई जयंती समारोह आयोजित किया जाएगा। समारोह में मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल बतौर मुख्य अतिथि शिरकत करेंगे।
वीरांगना झलकारी बाई रानी झांसी लक्ष्मीबाई की सेना में एक बड़ी ओहदेदार थीं और प्रथम स्वतंत्रता संग्राम में उन्होंने अपने जीवन की बाजी लगाकर देश के लिए महान बलिदान दिया। उम्र के मात्र 27-28 बसंत देखने के बावजूद झलकारी का शौर्य भारतीय महिलाओं के हिस्से आया ऐसा गौरव है, जिसकी चमक आज भी बरकरार है। भारत की सम्पूर्ण आजादी के सपने को पूरा करने के लिए अपना सर्वोच्च न्योछावर करने वाली वीरांगना झलकारी बाई का देश सदैव ऋणी रहेगा।
श्री मनोहर लाल ने कहा कि जो समाज एवं राष्ट्र अपने शहीदों का सम्मान करता है और सदैव उनके कल्याण के प्रति सजग रहता है, वह समाज सदा समृद्धि और प्रगति की ओर अग्रसर होता है। हमें सदा अपने शहीदों को सम्मान के साथ याद रखना होगा। राष्ट्र की रक्षा, एकता एवं अखंडता को कायम रखने के लिए हमारे वीर सैनिकों और देशभक्तों ने जो शहादत दी है। हमारा राष्ट्र उनका सदा ऋणी एवं कृतज्ञ रहेगा।
उल्लेखनीय है कि सरकार द्वारा संत महापुरुष सम्मान एवं विचार प्रचार प्रसार योजना के तहत अब तक प्रदेशभर में कई कार्यक्रम आयोजित किए जा चुके हैं। इन कार्यक्रमों का उद्देश्य सर्व समाज के महान संत महात्माओं का सम्मान करना और उनके द्वारा समाज हित में किए गए कार्यों को समाज के सामने प्रस्तुत करना है। सरकार इन महापुरुषों के पदचिन्हों पर चलकर आम आदमी के लिए काम कर रही है। यह सरकार सत्ता भोगने की बजाए समाज के अंतिम व्यक्ति के उत्थान के लिए प्रयासरत है।
वीरता और कर्तव्यपरायणता की मिसाल झलकारी बाई: मुकेश वशिष्ठ
भारत का गौरवशाली इतिहास, इस लिहाज से विलक्षण माना जाएगा कि यहां समाज के हर तबके ने अपने कृतित्व और जागरूकता के सुलेख लिखने के लिए स्वाधीनता प्राप्ति का इंतजार नहीं किया। दिलचस्प है कि इस दौरान कीर्ति, यश और नायकत्व के तारीखी पन्ने महिलाओं के हिस्से भी खूब आए। लेकिन, दुर्भाग्यवश गौरवशाली इतिहास के इन पन्नों में कई बड़े किरदार खोए गए। सौभाग्य से ऐसे महानायकों को मुख्यमंत्री मनोहर लाल नए सिरे से जिक्र व तर्क के साथ देश व प्रदेश में सामाजिक-सांस्कृतिक विमर्श के साथ उभार रहे हैं। हिंदुस्तानी तारीख का एक ऐसा ही सुनहरा नाम है, झलकारी बाई।