Haryana News: हरियाणा सरकार का बड़ा फैसला, फरीदाबाद और पानीपत में थर्मल प्लांट की खाली पड़ी जमीनों पर होगा ये काम
हरियाणा पॉवर युटिलिटिज के अध्यक्ष श्री पी. के. दास ने कहा कि एच.पी.जी.सी.एल. की फरीदाबाद एवं पानीपत में थर्मल प्लांट की खाली पड़ी जमीनों को औद्योगिक एवं शैक्षणिक विकास हेतु देने की योजना को कार्यान्वित किया जा रहा है।
Haryana News: हरियाणा पॉवर युटिलिटिज के अध्यक्ष श्री पी. के. दास ने कहा कि एच.पी.जी.सी.एल. की फरीदाबाद एवं पानीपत में थर्मल प्लांट की खाली पड़ी जमीनों को औद्योगिक एवं शैक्षणिक विकास हेतु देने की योजना को कार्यान्वित किया जा रहा है। हरियाणा पॉवर जनरेशन कॉर्पोरेशन की फरीदाबाद में खाली पड़ी 141.78 एकड़ जमीन और पानीपत में खाली पड़ी 100 एकड़ जमीन हरियाणा स्टेट इंडस्ट्रीयल एंड इन्फरास्ट्रकचर डेवलपमेंट कॉर्पोरेशन को ट्रांसफर की जा रही है। इसका उद्देश्य हरियणा के औद्योगिक संर्वधन को बढ़ावा देना है।
इस आशय की जानकारी देते हुए श्री पी के दास ने बताया कि पानीपत और फरीदाबाद दोनो शहरों की थर्मल की खाली पड़ी जमीन हरियाणा के औद्योगिक विकास के लिए प्रदान की जा रही है। इन स्थानों पर स्थापित उद्योग से न सिर्फ नौजवानों को रोज़गार मिलेगा बल्कि हरियाणा के जी. डी. पी. में वृद्धि होगी और मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल का औद्योगिक हरियाणा: समृद्ध हरियाणा का सपना साकार होगा।
विदित है कि पानीपत थर्मल की स्थापना नवम्बर 1979 में हुई थी, वर्तमान में इस परिसर में 3 युनिटें संचालित है। फरीदाबाद में प्रस्तावित गैस आधारित ऊर्जा उत्पादन संस्थान के लिए उपलब्ध भूःखण्ड पर गांव मथुका और अरूआ में राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में बढ़ते प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल के सलाह/मार्गदर्शन पर प्रस्तावित संस्थान का निर्माण स्थगित कर दिया गया। निष्कर्षतः फरीदाबाद में खाली पड़े 141.78 एकड़ एवं पानीपत में 100 एकड़ भू-भाग पर हरियाणा स्टेट इंडस्ट्रीयल एंड इन्फरास्ट्रकचर डेवलपमैंट कॉर्पोरेशन औद्योगिक इकाईयों की स्थापना कर रहा है। वहीं थर्मल द्वारा स्थापित टाऊनशीप सेक्टर-23, फरीदाबाद की 5 एकड़ जमीन पर उच्च शिक्षा विभाग हरियाणा फरीदाबाद और आस पास के युवाओं के लिए महाविद्यालय स्थापित करने का निर्णय लिया है।
राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में स्थित भूमि के मूल्य में दिन प्रतिदिन वृद्धि हो रही है। इस लिए इस प्रमुख भूमि के नवीनतम बाजार मूल्य को आधार में रख कर मूल्यांकन के उपरान्त समतुल्य मूल्य का एच पी जी सी एल को शिक्षा विभाग एवं हरियाणा स्टेट इंडस्ट्रीयल एंड इन्फरास्ट्रकचर डेवलपमैंट कॉर्पोरेशन द्वारा भुगतान किया जाएगा। इस निर्णय से दोनों जिलों के स्थानीय जन-मानस में खुशी की लहर है।