फरीदाबाद के SHO और पुलिसकर्मियों पर लगाए बेवजह बंधक बनाकर पीटने के आरोप

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फरीदाबाद के SHO और पुलिसकर्मियों पर लगाए बेवजह बंधक बनाकर पीटने के आरोप

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हरियाणा में फरीदाबाद के थाना छायसा के SHO और 6 पुलिसकर्मियों पर बाप-बेटों ने  थाने में 7 घंटे तक बंधक बनाकर लाठी-डंडों से पीटने के गंभीर आरोप लगाए हैं। घायल व्यक्ति रामबाबू ने पुलिस पर गंभीर आरोप लगाए हैं। पुलिस ने उसे फरीदाबाद के बादशाह खान सिविल अस्पताल में भर्ती कराया है।
पीड़ित रामबाबू ने बताया कि वह गांव जवा का रहने वाला है। उनके पंचायती जमीन में बने मकान पर कब्जे को लेकर उसके भाई शारदानंद और राजीव से झगड़ा चल रहा है। 29 जनवरी को भी उसके भाइयों ने उस पर और उसके बेटों पर हमला किया था। जिसमें उन्हें चोटें आई थी जिसकी बाकायदा उन्होंने मेडिकल लीगल रिपोर्ट भी बनवाई थी। उन्होंने इसकी शिकायत SHO सुरेश चंद को दी थी, लेकिन सुरेश चंद्र ने कोई कार्रवाई नहीं की। बल्कि उल्टे उनके भाइयों के साथ मिलकर उनके ही मकान पर उनसे कब्जा दिलाना चाह रहा था। जब इसका उन्होंने विरोध किया, तब पुलिसकर्मियों ने उनके साथ जमकर मारपीट की और गांव से घसीटते हुए थाने में ले आए। जहां पर उन्हें बंधक बना कर रखा और बुरी तरह से पीटा। सुरेश चंद्र ने उनके बेटों के सामने ही लाठी से मारकर उसका पांव और हाथ तोड़ दिया। पीड़ित ने कहा कि थाने में बेरहमी से पीटने के बाद उसने चोरी-चोरी अपने ही मोबाइल से घायल अवस्था में वीडियो बनाई और उसे वायरल कर दिया ।

उसे डर है कि पुलिस अब उसका मोबाइल फोन छीन लेगी। उसे और उसके बेटों को और टॉर्चर करेगी। वहीं डॉक्टर मनीष दयाल ने बताया कि घायल के सिर में चोट है, पांव में फ्रैक्चर है और हाथ में भी फैक्चर हो सकता है जिसे इलाज के लिए बादशाह खान सिविल अस्पताल में भर्ती कर लिया गया है। 


पुलिस प्रवक्ता यशपाल ने बताया कि जवा गांव में बीते 10 तारीख को दो भाइयों का मकान पर कब्जे को लेकर झगड़ा हो रहा था जिसकी सूचना मिलने के बाद थाना छायसा SHO व अन्य पुलिसकर्मी मौके पर पहुंचे थे। इसके बाद रामबाबू और उसके बेटों ने न केवल अपने भाइयों से मारपीट की, बल्कि पुलिस पर भी पथराव कर दिया।

इसके चलते पांच पुलिसकर्मियों को चोटें आई है, जिनमें से एक को काफी गंभीर चोटें हैं। जिसके चलते आरोपी रामबाबू व उसके बेटों के खिलाफ उसके भाइयों के बयान के आधार पर FIR दर्ज की गई है। पुलिस पर हमला करने के आरोप में भी आरोपी रामबाबू पर धारा 307 वन्य धारों के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है। यशपाल ने बताया कि पुलिस पर लगाए गए मारपीट के सभी आरोप निराधार हैं। आरोपी रामबाबू का पांव उसके गांव में ही पुलिस पर पथराव करते समय लकड़ियों में फंसने के बाद टूटा था। फिलहाल आरोपी रामबाबू को पुलिस ने ही फरीदाबाद के बादशाह खान सिविल अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती कराया है जहां इसका इलाज चल रहा है।

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